Himachal Pradesh : यूपी, उतरांचल, राजस्थान व ओडीसा की तर्ज पर कोरोना योद्वा घोषित करे सरकार-सीमा
मोहन-पत्रकारों को सामाजिक सुरक्षा उपलब्ध कराने में हिमाचल सरकार दिखाए
संवेदनशीलता-आनंद-एनयूजे इंडिया के प्रांतीय सम्मेलन में उठे पत्रकारों से संबधित कई मुददे
नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्टस इंडिया की हिमाचल इकाई का राज्य सम्मेलन वैव के तहत प्रदेशाध्यक्ष रणेश राणा की अध्यक्षता में हुआ, जिसमें प्रेस कौंसिल आफ इंडिया के सदस्य व एनयूजे इंडिया के राष्ट्रीय संगठन सचिव आनंद राणा विशेष तौर पर उपस्थित हुए। बैठक में जहां पत्रकारों की मांगों पर एक बार फिर आवाज बुंलद की गई वहीं कोरोना के कारण पत्रकारों की मौतों पर हिमाचल सरकार द्वारा सामाजिक सुरक्षा से मुख मोड कर चुप बैठे रहने की भी निंदा की गई। राष्ट्रीय सचिव सीमा मोहन ने कहा कहा कि कोरोना की पहली लहर से ही एनयूजे की हिमाचल इकाई प्रदेश सरकार से आग्रह करती रही कि चौथे स्तभ का सम्मान करते हुए उसको कोरोना वरिर्यस घोषित करके वह तमाम सभी सुविधाएं उपलब्ध करवाए जो कि मैडीकल स्टाफ व अन्य सरकारी कर्मियों को है लेकिन सरकार ने तो वैक्सील लगवाने में भी पत्रकारों को अंत तक लटकाए रखा। प्रेस कौंसिल आफ इंडिया भारत सरकार के सदस्य आनंद राणा ने कहा कि हमारी राष्ट्रीय इकाई लगातार पत्रकारों के संरक्षण संवर्धन के लिए प्रयास करती रही है। हमारी प्रमुख मांग रही है कि देश के तमाम पत्रकारों (मान्यता व गैर मान्यता प्राप्त) को कोरोना योद्वा माना जाए वहीं उनका स्वास्थ्य बीमा किया जाए, अगर किसी पत्रकार की मृत्यु हो जाती है तो उसके परिवार को यूपी, उतरांचल, ओडीसा, कनार्टक, मध्य प्रदेश, झारखण्ड, राजस्थान की तर्ज पर घोषित 50 लाख से 10 लाख की राशि मुहैया करवाई जाए। वहां की सरकारों ने पत्रकारों को फ्रंटलाईन वर्कर घोषित कर रखा है। वरिष्ठ उपाध्यक्ष व राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य जोगिंद्र देव आर्य तथा विशाल आनंद ने कहा कि हिमाचल सरकार तीन साल के कार्यकाल में पत्रकार कल्याण बोर्ड के गठन करने में नाकाम रही है और आज तक कोई भी सामाजिक सुरक्षा हिमाचल के मीडीया कर्मियो को उपलब्ध नहीं करवा पाई है। सरकार पत्रकारों के मुददों पर चुप्पी साधे रही है और किसी पत्रकार की मृत्यु हो जाने पर सिर्फ संवेदना जताकर अपने कर्तव्य का निर्वहन कर रही है वहीं पडोसी राज्य हरियाणा व पंजाब हमारे से इस मामले में कहीं आगे है। पद्वर मंडी के पत्रकार ललित ठाकुर ने कहा कि सरकार ने उपमंडल पर जो लैपटाप देने की घोषणा की थी उस पर दो साल से कोई कार्यवाही नहीं हुई। सुंदरनगर के अश्विनी सैणी ने कहा कि पत्रकारों पर कोविड काल में दर्ज मुकदमें वापिस लेने की घोषणा सीएम जयराम ठाकुर ने की थी लेकिन यह बात सिर्फ एक जुमला ही निकली। पत्रकारों को कोर्ट से सम्मन आ रहे हैं और उनको पेशियां भुगतने जाना पड रहा है। पत्रकार संतोष शर्मा ने कहा कि सरकार ने वैक्सीन के मुददे पर उनको फ्रंटलाइन वर्कर माना है लेकिन रामपुर बुशैहर में उनको वैक्सीन ही नहीं लग रही है जिसकी जांच होनी चाहिए। बैठक में पंकज भारतीय, दिनेश कंवर, सुमित शर्मा, गोपाल दत्त शर्मा, पंकज गोल्डी, हरिराम धीमान, राम स्वरुप शर्मा, हरदेव भारद्वाज, राजकुमार सूद, नवीन सूद, जगमोहन शर्मा, शंभू प्रकाश, महेश कालिया आदि ने भाग लिया।
जिलाध्यक्षों ने दिया संगठन ब्यौरा-प्रांत सम्मेलन के दौरान जिला अध्यक्षों ने अपने अपने जिलों की रिपोर्ट पढ़ी और सदस्यता अभियान की जानकारी दी। प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि कोविड के समाप्त होने के बाद वह एक बार फिर समस्त जिलों का दौरा करेंगे ताकि कोई भी मंडल सदस्यता से अछूता न रहे। पंकज कतना ने ऊना, रविंद्र चंदेल ने हमीरपुर, रतन चंद नेगी ने किन्नौर, प्रीती मुकुल ने शिमला, देवेंद्र ठाकुर ने कुल्लू, अंकुश सूद ने मंडी, विजय ठाकुर ने कांगडा, रोहित गोयल ने सोलन, श्याम लाल पुंडीर ने सिरमौर, विक्रम ठाकुर ने बिलासपुर व विशाल आनंद ने चंबा जिला की रिपोर्ट पढ़ी।
आनंद राणा ने थपथपाई हिमाचल की पीठ-राष्ट्रीय संगठन मंत्री आनंद राणा ने सम्मेलन में हिमाचल इकाई की पीठ थपथपाई और कहा कि दो दशक की मेहतन के बाद प्रदेश में संगठन का पंजीकरण ट्रेड यूनियन एक्ट के तहत हो गया है। इसके अलावा प्रदेश की कोई देनदारी केंद्रीय कार्यालय की ओर नहीं बची है। उन्होने राष्ट्रीय कार्यालय पर चल रहे वित्तीय संकट में हिमाचल इकाई को अपना ज्यादा से ज्यादा अंशदान देने का आग्रह किया।
स्वर्ण जयंती सम्मेलन व राष्ट्रीय बैठक स्थगित-इस बार एनयूजे इंडिया की राष्ट्रीय बैठक ऊना जिला के चिंतपूर्णी में होनी थी जो कि कोविड के कारण स्थगित कर दी गई थी। संगठन के 50 साल पूर्ण होने पर राज्य स्तरीय सम्मेलन भी स्थगित कर दिया गया है।
शोक संवेदना से हुई शुरु बैठक-बैठक के शुरु में पत्रकार पंकज कतना के पिता, रणेश राणा की माता, नीलम मैहता के पति के निधन पर शोक प्रकट किया और मौन रखा गया। बैठक में राज्य महामंत्री ने बताया कि मंडी की महिला पत्रकार के पति की मौत पर हिमाचल प्रदेश यूनियन आफ जर्नलिस्टस ने तुरंत आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाई है ताकि उनके असमय जख्मों पर मरहम लग सके।
दिल्ली कार्यालय को वित्तीय मदद का पैमान किया तय-प्रदेश कोर कमेटी टीम ने वित्तीय संकट से घिरे राष्ट्रीय कार्यालय 7 जंतर मंतर को मदद करने के उदेश्य से सभी सदस्यों को आहवान किया। जोगिंद्र आर्य ने कहा कि इसमें हमने तय किया कि राष्ट्रीय पदाधिकारी 165 रुपये मासिक, प्रदेश के पदाधिकारी 150 रुपये मासिक, जिला व मंडलों के पदाधिकारी 100 रुपये माहवार व अन्य आम व सक्रिय सदस्य 50 रुपये मासिक राशि प्रदेश को देंगे और यह राशि एकत्रित करके दिल्ली भेजी जाएगी। यह राशि सात दिन के अंदर राष्ट्रीय कार्यालय को भेज दी जाएगी।
अंकुश सूद बने जिला मंडी के संयोजक-संगठन को गति देने के लिए प्रांत बैठक में कुछ नए दायित्वों की घोषणा भी की गई। राज्य महामंत्री रुप किशोर ने बताया कि मंडी के वरिष्ठ पत्रकार अंकुश सूद जिला मंडी के संयोजक व प्रदेश उपाध्यक्ष बनाए गए हैं, रुप पाल कौंडल प्रदेश सह-सचिव, मनीष राजपूत लढभडोल को मंडी जिला सह संयोजक, विजय ठाकुर जिला कांगडा संयोजक, शांति स्वरुप गौतम प्रदेश प्रेस सचिव, भाविता जोशी जिला सोलन महिला विंग संयोजक व राजकुमार कश्यप आईटी सैल के प्रदेश सह सचिव होंगे। यह नियुक्तियां तत्काल प्रभाव से लागू हो गई हैं।